🌾 पर्यावरण दुल्हन बनी 🌾
🌳रचना : रति चौबे (नागपुर)🌳
🌾☘️🌿
पर्यावरण दुल्हन बनी🌾करें है गृहप्रवेश
प्रकृति नटी🥀
अभिवादन 🙏
करते वटवृक्ष 🌳
हरसिंगार 🥀
झूमें गुलाब 🌹
महकी चमेली भी🪷
हंसा मोगरा🌸
राहों में चम्पा🌷
बरसे झूम झूम 🥀
गुलमोहर 🥀
आशीर्वाद दे🙏
पीपल,नारियल🌳
बालियां झूमे 🌾
पंछी चहके🦅🦅🦅
नृत्य करें मोर🦚🦚
बोले पपीहा 🦜
वरण करो💦💧
प्रकृति को वरुण💦
श्रृंगारित करो💦💦
रुप सहेजो🍃
अलकृंत करो यूं🐚
पुष्पाभूषण🪷🌺🌸
पूछा सबने🌴🌲🌿☘️🍀🍀🍃
मुंह दिखाई क्या दे
असमंजस🦜
प्रकृति बोली👄
मुझे बचालो बस
प्रदूषण से🙏
प्रदूषण अंत🍃
स्वांस भरे पल्लव
दे शुद्ध हवा🎍
हम ले प्रण👩🏻👱🏼♂️🧑🏾🦱
तभी बचेंगे प्राण
ना दिखावा है🤝👏🏻
पर्यावरण🌿🌸
मेरा मूल्य घंटे ना🥀🦚🌲🍀🌴☘️🪷
🌸 सदाबहार 🌴🍃🌾🦅🦜🦢
यहां प्रकृति एक नारी बन
दुल्हन के रूप में
सबसे कह रही है।
🌿🍃🌷🌳🌲🦚☘️🍀🍃🌿🌾
🌴रति चौबे (नागपुर, महाराष्ट्र)🌴
🌾🌿🍃🌾🌿🍃🌾🌿🍃