टिकैत ब्रदर्स के पाकिस्तान पर बयान पर हलधर किसान यूनियन का पलटवार, डॉ. शैलेश गिरि ने की तीखी टिप्पणी!
दिल्ली/एनसीआर: भारतीय हलधर किसान यूनियन के राष्ट्रीय मुख्य प्रवक्ता एवं राष्ट्रीय कोर कमेटी उपाध्यक्ष डॉ. शैलेश कुमार गिरि ने आज एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत और प्रवक्ता राकेश टिकैत पर जमकर हमला बोला। उन्होंने टिकैत ब्रदर्स पर पाकिस्तान के सिंधु जल समझौते को लेकर पक्ष लेने का आरोप लगाते हुए कहा कि उनके बयानों से ऐसा प्रतीत होता है मानो बीकेयू की कोई शाखा पड़ोसी दुश्मन देश पाकिस्तान में भी संचालित हो रही हो।
डॉ. गिरि ने सवाल उठाया कि जब लोकगायिका नेहा सिंह राठौर के एक बयान पर एफआईआर दर्ज हो सकती है, तो फिर टिकैत ब्रदर्स, महामंडलेश्वर अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती और अन्य भड़काऊ बयान देने वाले नेताओं पर क्यों नहीं? उन्होंने मांग की कि इन सभी के खिलाफ भी विस्तृत जांच कर उचित कार्रवाई की जानी चाहिए।
उन्होंने कहा, “जब जवानों और पर्यटकों का खून बहता है, तो पानी नहीं, आग बहनी चाहिए।” उन्होंने टिकैत ब्रदर्स को निशाने पर लेते हुए आरोप लगाया कि उनकी नीयत में राष्ट्र नहीं, बल्कि कैमरा, मीडिया, मंच और राजनीतिक स्वार्थ है। उन्होंने चेतावनी दी कि वह दिन दूर नहीं जब भारत का किसान इनकी असली मंशा को पहचानकर उन्हें दूध में गिरी मक्खी की तरह बाहर कर देगा।
हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि “भारत माँ की कोख फिर लहूलुहान हुई है और अब समय है एक सुर, एक संकल्प का।” उन्होंने नेहा सिंह राठौर के सवाल को समय और मंच के लिहाज से अनुचित बताया, विशेष रूप से तब जब पाकिस्तानी सोशल मीडिया हैंडल से उसका समर्थन किया गया।
राकेश टिकैत के बयानों पर सीधा हमला करते हुए डॉ. गिरि ने कहा कि “जो किसान की आवाज़ बनने का दावा करते हैं, वे आज उस आवाज़ को भटका रहे हैं। पहलगाम के खून के समय राजनीति की बकवास नहीं, एकजुटता चाहिए।”
विपक्षी नेताओं को भी आड़े हाथ लेते हुए उन्होंने कहा कि इस दुखद घटना के बाद उनके बयान न केवल सहानुभूति से रहित थे बल्कि देश की एकता पर भी चोट कर रहे थे। उन्होंने बीते वर्षों में आतंकी हमलों की घटनाओं और खुफिया एजेंसियों की सफलता का उल्लेख करते हुए कहा कि देश के संवेदनशील इलाकों में एक-दो घटनाओं को इंटेलिजेंस फेलियर कहना सही नहीं होगा।
अंत में, उन्होंने देशवासियों से एकजुटता की अपील करते हुए कहा, “आज का भारत दुश्मन को उसकी ही ज़मीन पर जवाब देने को तैयार है। यह समय आलोचना का नहीं, एकता और संकल्प का है।” उन्होंने पहलगाम के बलिदानियों को सच्ची श्रद्धांजलि देने का आह्वान करते हुए कहा, “भारत माता की जय — अब सिर्फ नारा नहीं, जवाब है।”