सोशियो इकानॉमिक एण्ड एडुकेशनल डेवलॉपमेंट सोसायटी (सीड्स) ने सदर अस्पताल में कोटपा- 2003 अधिनियम के तहत लगाया जुर्माना!
गैर संचारी रोग विभाग के अधिकारियों के नेतृत्व में अस्पताल परिसर में चलाया गया जागरूकता अभियान: डॉ भूपेंद्र कुमार
तंबाकू उपयोग के खतरों को समझने और अपने जीवन से बाहर निकालना सीड्स का मुख्य उद्देश्य: धमेंद्र कुमार
सारण (बिहार): तंबाकू नियंत्रण अधिनियम (कोटपा) 2003 के तहत भारत सरकार द्वारा तंबाकू के सेवन और उसके प्रचार पर रोक लगाने के लिए बनाया गया है। इस अधिनियम के अंतर्गत सार्वजनिक स्थलों सहित तंबाकू मुक्त परिसरों में तंबाकू का सेवन प्रतिबंधित है, लेकिन इसके उल्लंघन पर जुर्माना लगाया जा सकता है। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य तंबाकू के हानिकारक प्रभावों के प्रति जागरूकता बढ़ाना और लोगों को तंबाकू से दूर रखने के लिए प्रेरित करना है। उक्त बातें जिला गैर संचारी रोग अधिकारी डॉ भूपेंद्र कुमार ने सदर अस्पताल परिसर में जुर्माना लगाने के दौरान मीडिया से कही। उन्होंने यह भी कहा कि सीड्स की टीम ने अस्पताल के विभिन्न वार्डों और परिसरों में भ्रमण करने के दौरान देखा गया कि कई लोग सार्वजनिक स्थलों और कार्यालयों में तंबाकू का सेवन कर रहे थे। टीम ने तुरंत कार्रवाई करते हुए ऐसे व्यक्तियों को रोका और उन्हें अधिनियम की गंभीरता के बारे में जानकारी दी। इसके साथ ही उन पर निर्धारित जुर्माना भी लगाया गया। जुर्माना लगाने की प्रक्रिया को पूरी पारदर्शिता के साथ किया गया, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि नियमों का उल्लंघन करने वालों को दंडित किया जाए। इस अभियान के दौरान, सीड्स की टीम ने तंबाकू के सेवन के स्वास्थ्य पर प्रभाव, जैसे- कैंसर, हृदय रोग और अन्य गंभीर बीमारियों के संबंध में जानकारी प्रदान दी गई। इसके अलावा उन्होंने लोगों को तंबाकू छोड़ने के लिए विभिन्न संसाधनों और सहायता समूहों के बारे में भी बताया। टीम ने इस बात पर जोर दिया कि तंबाकू केवल व्यक्ति के स्वास्थ्य को प्रभावित नहीं करता, बल्कि इससे परिवार और समाज पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
तंबाकू उपयोग के खतरों को समझने और अपने जीवन से बाहर निकालना सीड्स का मुख्य उद्देश्य: धमेंद्र कुमार
वहीं सोशियो इकानॉमिक एण्ड एडुकेशनल डेवलॉपमेंट सोसायटी (सीड्स) के जिला कार्यक्रम अधिकारी धर्मेंद्र कुमार ने कहा कि इस अभियान के अंतर्गत सीड्स ने जिला गैर संचारी रोग पदाधिकारी डॉ भूपेंद्र कुमार और गैर संचारी रोग विभाग की मनोवैज्ञानिक निधि, फिजियोथेरेपिस्ट डॉ वरुण कुमार के सहयोग से अस्पताल के विभागों और परिसर में भ्रमण कर तंबाकू नियंत्रण के उपायों और तंबाकू छोड़ने के तरीकों के संबंध में जागरूक किया गया। इस अभियान के माध्यम से यह सुनिश्चित किया गया कि लोग तंबाकू के उपयोग के खतरों को समझें और इसे अपने जीवन से बाहर करें। भविष्य में भी इस तरह के अभियान जारी रखने की योजना बनाई गई है, ताकि तंबाकू के सेवन को कम किया जा सके और स्वस्थ समाज की दिशा में एक सकारात्मक बदलाव लाया जा सके। यह अभियान न केवल एक कड़ा संदेश था, बल्कि यह तंबाकू नियंत्रण के प्रति एक प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है। स्थानीय एनसीडीओ विभाग और सीड्स का संयुक्त पहल निश्चित रूप से समाज में तंबाकू के प्रति जागरूकता बढ़ाने और इसे समाप्त करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। सदर अस्पताल में तंबाकू, पान और गुटखा खाने वालों के खिलाफ़ जुर्माना लगाया गया है। जिसमें अधिकतम दो सौ रुपए जुर्माना लगाया गया है। क्योंकि सार्वजनिक स्थानों पर धूम्रपान करना दंडनीय अपराध है। हालांकि इसके जागरूकता के लिए पहले से ही अस्पताल परिसर के कई स्थानों पर पोस्टर और बोर्ड लगाया गया है। लेकिन इसके बावजूद कुछ लोग तंबाकू, पान या अन्य उत्पादों का सेवन करते पाए गए है। इस अवसर पर सदर अस्पताल के लेखापाल बंटी कुमार रजक और एनसीडी विभाग के डेटा ऑपरेटर अभिषेक कुमार सहित कई अन्य अधिकारी और कर्मी उपस्थित थे।