स्टेट बोरिंग से किसानों को नहीं मिल रहा लाभ
सारण (बिहार) संवाददाता मनोज सिंह: माँझी के किसानों को लाभ देने के उद्देश्य से सरकार द्वारा माँझी के गनेसी बगीचा में स्टेट बोरिंग लगा कर सरकारी राशि को पानी के तरह भले बहा दिया गया हो किन्तु इससे किसानों को लाभ पहुंचा ही नहीं। किसान निजी बोरिंग के सहारे खेती कर रहे हैं। वहीं, छोटे किसानों को 150 रुपये घंटे की दर से पानी खरीद कर पटवन करने की लाचारी है।
मालूम हो कि माँझी में अधिकतर बोरिंग छोटे-मोटे गड़बड़ी के चलते बंद हो गए हैं। कहीं विद्युत ट्रांसफार्मर नहीं तो कहीं तार गायब है। कहीं मोटर खराब है। एकाध स्थानों पर यदि बोरिंग चल भी रही है तो वहां के किसानों के लिए नाला ही नहीं है। किसानों की शिकायत को नजरअंदाज कर दिया जाता है। पटवन की समस्या किसानों की कमर तोड़ रही है। महंगी सिंचाई के कारण माँझी के किसानों के लिए कृषि लागत वापस होना भी मुश्किल होता है। किसानों में असंतोष है।