पौष अमावस्या पर सोनपुर में भव्य त्रिवेणी महाआरती, हरिहरक्षेत्र बना काशी-हरिद्वार सा दिव्य
सारण (बिहार) संवाददाता धर्मेंद्र रस्तोगी: पौष मास अमावस्या के पावन अवसर पर माँ तारा सेवा निधि कौनहारा महातीर्थ हरिपुर, वैशाली के तत्वावधान में शुक्रवार की संध्या भारत वंदना घाट, सोनपुर में त्रिवेणी महाआरती की भव्य प्रस्तुति की गई। विद्वान पंडितों द्वारा शंख ध्वनि, झाल-नगाड़ों और वैदिक मंत्रोच्चार के साथ गंगा आरती संपन्न कराई गई, जिसने पूरे हरिहरक्षेत्र को आध्यात्मिक ऊर्जा से ओतप्रोत कर दिया।
आयोजकों के अनुसार यह त्रिवेणी महाआरती विगत कई वर्षों से निरंतर परंपरा के रूप में की जा रही है। प्रत्येक पूर्णिमा को कौनहारा घाट महातीर्थ हरिपुर तथा प्रत्येक अमावस्या को भारत वंदना घाट, सोनपुर में इसका आयोजन होता है। हरि और हर की पावन भूमि हरिहरक्षेत्र की महिमा वेद-पुराणों में वर्णित है और इसी गौरव को जनमानस तक पहुंचाने के उद्देश्य से माँ तारा सेवा निधि द्वारा निरंतर सांस्कृतिक व धार्मिक कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं।
माँ तारा सेवा निधि के संरक्षक महाकाल बाबा के नेतृत्व में आयोजित इस महाआरती में सैकड़ों श्रद्धालु उपस्थित रहे। श्रद्धालुओं ने गंगा आरती का दर्शन कर स्वयं को मंत्रमुग्ध महसूस किया। शंखनाद, वैदिक जयघोष और दीपों की आभा से हरिहरक्षेत्र का दृश्य काशी और हरिद्वार जैसा प्रतीत हो रहा था। पूरे क्षेत्र में “धर्म की जय हो, अधर्म का नाश हो” और “हरिहरक्षेत्र का उद्धार हो” जैसे ओजस्वी उद्घोष गूंजते रहे।
कार्यक्रम को सफल बनाने में स्थानीय जनमानस की भूमिका अत्यंत सराहनीय रही। आयोजन में आचार्य अनिल, अर्जुन, अविनाश, किशन, कुंदन, राजा, मुकेश, रौशन, विपिन, आदित्य सहित समाजसेवी लाल बाबू पटेल ने भी सक्रिय योगदान दिया। भक्ति, श्रद्धा और सांस्कृतिक चेतना के संग इस भव्य गंगा महाआरती का समापन हुआ।

