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भगत सिंह, हूँ फैन सदा तेरी शराफत का!
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/// जगत दर्शन साहित्य
✍️ सुखविंद्र सिंह मनसीरत, खेडी राओ वाली (कैथल)
/// जगत दर्शन न्यूज
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भगत सिंह, हूँ फैन सदा तेरी शराफत का!
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भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का,
कैसे करूँ बयान शुक्रिया तेरी शहादत का।
आजादी की कीमत को तुम ने था जाना,
फिरंगियों की एक भी बात को था ना माना,
जन गण भी आज ऋणी तेरी इबाबत का।
भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का।
चढ़ती जवानी में दे दी वतन पर क़ुरबानी,
फांसी के फंदा झूला दुनिया सारी दीवानी,
मीठी बोली मे घोला घोल लियाक़त का।
भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का।
देश की खातिर छोड़ दी मधुर प्रेम कहानी,
भारत को मिली बदले ये आजादी निशानी,
कोई भी नही मोल अनमोल बगावत का।
भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का।
मनसीरत है गाता तेरा रंग दे बंसती चोला,
लाल लहू में रंग गया हरफ़नमौला ढोला,
मुंह तोड़ जवाब दिया सफ़ेद क़यामत का।
भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का।
भगत सिंह हूँ फैन सदा तेरी शराफत का।
कैसे करूँ बयान शुक्रिया तेरी शहादत का।
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