नियोजित शिक्षक: अर्हताएं पूरी तो सभी सुविधाएं क्यों नहीं?
नियोजित शिक्षकों को सभी प्रकार की प्रोन्नति देनी होगी : रवीन्द्र कुमार सिंह
सारण (बिहार) संवाददाता वीरेश सिंह: बिहार के नियोजित शिक्षकों की लंबित मांगों को लेकर मंगलवार को मांझी और एकमा प्रखंड के पंचायती राज संस्थाओं के अधीन कार्यरत शिक्षकों की बैठक डुमरी पंचायत स्थित विवाह भवन में आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता राजेश कुमार सिंह ने की जबकि संचालन रवीन्द्र कुमार सिंह ने किया।
बैठक में उपस्थित सभी शिक्षकों ने एक स्वर में कहा कि हम अपने हक के लिए एकजुट हैं और हमें प्रोन्नति सहित सभी सुविधाएं हर हाल में मिलनी चाहिए। वक्ताओं ने कहा कि नियोजित शिक्षकों को स्नातक प्रोन्नति, प्रधानाध्यापक प्रोन्नति और कालबद्ध प्रोन्नति जैसी सुविधाएं अब तक नहीं दी गई हैं, जबकि इसकी सभी अर्हताएं हम पूरी कर चुके हैं। इस मुद्दे पर माननीय उच्च न्यायालय द्वारा भी कई न्यायादेश नियोजित शिक्षकों के पक्ष में पारित किए जा चुके हैं, जिन्हें लागू नहीं किया गया है।
रवीन्द्र कुमार सिंह ने कहा कि बाध्य होकर शिक्षकों को न्यायालय की शरण लेनी पड़ी और अवमानना याचिका भी दायर की गई है, जिस पर शीघ्र ही सुनवाई होनी है। न्यायपालिका द्वारा दिए गए आदेश को लागू करना ही होगा। उन्होंने विश्वास जताया कि शिक्षक विरोधी सरकार को नियोजित शिक्षकों को प्रोन्नति सहित पुराने शिक्षकों के समान सभी सुविधाएं देनी पड़ेगी।
बैठक में यह भी कहा गया कि ईपीएफ के मुद्दे पर भी माननीय न्यायालय ने आदेश पारित किया है कि नियोजन की तिथि से ही शिक्षकों को यह सुविधा मिलनी चाहिए। इसलिए सरकार को इसे तत्काल लागू करना होगा।
अंत में शिक्षकों ने संकल्प लिया कि अपने जायज हक को पाने के लिए वे संघर्ष के बल पर हर हाल में सफलता प्राप्त करेंगे। बैठक में विनय कुमार सिंह, अरविंद कुमार सिंह, हरेंद्र सिंह, रामस्वरूप मांझी, त्रिभुवन प्रसाद, द्वारिका राय, बाबू जान मियां, बृजेश पांडेय, जावेद उस्मानी, सिपाही राम, हनीफ खान, रामानुज सिंह, ब्रजनंदन कुमार, सुमन सिंह, कुमारी नीलम, कृष्णावती देवी, पुष्पा ओझा, अनीता ओझा, उषा किरण, लक्ष्मी चौधरी, शंभूनाथ चौधरी, नरेंद्र सिंह, शालिग्राम पांडेय, सुरेश यादव, अनिल पांडेय, जयनंदन प्रसाद शाही, चंदन भारती सहित बड़ी संख्या में नियोजित शिक्षक उपस्थित थे।