गंगा में शिक्षक के बह जाने के बाद शिक्षा विभाग ने निकाला राहत भरा आदेश पत्र!
///जगत दर्शन न्यूज
पटना (बिहार): बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में अवस्थित विद्यालयों में शिक्षकों के आवागमन के संबंध में शिक्षा विभाग के सचिव वैद्यनाथ यादव ने एक राहत भरी आदेश पारित किया है। अपने आदेश पत्र (१/विविध-34/2024-676) में सभी जिला अधिकारियों को कहा है कि राज्य के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में अवस्थित विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों/कर्मियों को विद्यालय आने जाने में नदी पार करने के लिए नाव का इस्तेमाल किया जा रहा रहा है। नाव के ससमय अनुपलब्ध रहने की स्थिति में शिक्षक/कर्मियों को अनेक कठिनाईयों का सामना करना पड़ रहा है। उक्त को ध्यान में रखते हुए बाढ़ग्रस्त क्षेत्र में अवस्थित सरकारी विद्यालयों (प्राथमिक, मध्य, माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक) में कार्यरत शिक्षक/कर्मियों के विद्यालय आवागमन के संबंध में निम्नांकित निदेश दिये जा रहे है:-
1.जिन घाटों से शिक्षक/कर्मी/बच्चे अपने विद्यालय नदी पार कर आते जाते है, उन घाटों पर सरकारी नाव की व्यवस्था की जाय।
2. नाव पर Life Jacket पर्याप्त संख्या में उपलब्ध कराया जाय, ताकि प्रत्येक सवारी Life Jacket का प्रयोग अनिवार्यतः कर सके। गोताखोर की व्यवस्था भी रहे। Life Jacket का क्रय जिला प्रशासन द्वारा किया जाय।
3. विद्यालय जाने एवं लौटने के लिए निर्धारित समय को ध्यान में रख कर नाव खुलने का समय निर्धारित किया जाय, ताकि शिक्षक/फर्मी/ बच्चे नाव पर सवार होकर ससमय विद्यालय पहुँच सके एवं घर जा सकें।
4. इस पर होने वाले व्यय आपदा प्रबंधन के माध्यम से नहीं होने की स्थिति में इसका वहन जिला शिक्षा पदाधिकारी द्वारा किया जायेगा। आवश्यकता अनुसार इसके लिए आवंटन की मांग की जायेगी। यह मात्र अगस्त एवं सितम्बर माह के लिए मुख्य रूप से लागू होगा।
5. कतिपय कारणों से अगर ऐसे शिक्षक/कर्मी विद्यालय निर्धारित समय पर नहीं पहुँचते है तो तदनुरूप विलम्ब से दर्ज उपस्थिति मान्य होगी, जिनमें एक घण्टे से ज्यादा विलम्ब नहीं हो।
वहीं उपरोक्त निदेशों का सम्यक अनुपालन सुनिश्चित करने का अनुरोध करते हुए उन्होंने इसका प्रतिलिपि सभी क्षेत्रीय शिक्षा उप निदेशक/सभी जिला शिक्षा पदाधिकारी को सूचनार्थ भेज दिया है।
आखिर कब तक?
आपको बता दें कि कल शुक्रवार की सुबह पटना में दो नावों के बीच टक्कर के बाद बिहार लोक सेवा आयोग के तरफ से बहाल 25 वर्षीय शिक्षक अविनाश कुमार गंगा में गिर कर बह गए। अविनाश सुबह 8 बजे अपने साथियों के साथ स्कूल जा रहे थे। हादसा दानापुर थाना क्षेत्र के फक्कड़ महतो घाट की बताई जा रही है। वहीं इस घटना के बाद बिहार के शिक्षा विभाग पर शिक्षको का आक्रोश टूट पड़ा था। इसको लेकर शिक्षा विभाग ने यह पत्र जारी कर आदेश दिया है। फिर भी यह चिंतनीय है कि क्या अब भी हादसे टाले जा सकते है। क्या इस पत्र पर अमल होगा? यदि होगा तो आखिर कब तक? वही शिक्षको को ड्यूटी के लिए अधिक दूर तक का सफर तय करना प्रतिदिन जोखिम भरा तो है ही, पर सरकार इस पर संज्ञान नही लेकर दूर दराज में भेजने की बात हमेशा से कहती रही है। वही। शिक्षकों का मानना है कि दूर दराज आने जाने से और परिवार से दूर रहने पर मानसिक स्थिति संतुलित नही रह पाता, जिसका खामियाजा समाज को भुगतना पड़ता है। वही। बच्चो के पढ़ाई पर इसका असर देखने को मिलता है।