मखाना के खेती: कितनी मिलती है सब्सिडी? कैसे करें खेती! मालामाल हो जाएंगे आप!
पुर्णिया (बिहार): मखाना विकास योजना अंतर्गत मखाना की खेती विषय पर प्रशिक्षण सह परिचर्चा कार्यक्रम का आयोजन प्रज्ञान सभागार में जिला उद्यान कार्यालय कृषि विभाग पूर्णिया द्वारा किया गया आयोजित! प्रशिक्षण कार्यक्रम में सभी प्रखंडों के मखाना उत्पादकों द्वारा लिया गया भाग। कार्यक्रम का उद्घाटन कुन्दन कुमार (भा०प्र०से०) जिला पदाधिकारी सह अध्यक्ष जिला बागवानी समिति द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ परिचर्चा में उपस्थित मखाना किसानों को संबोधित करते हुए जिलाधिकारी महोदय द्वारा मखाना पर प्रकाश डालते हुए कहा कि पूर्णिया से अमेरिका कनाडा ऑस्ट्रेलिया इत्यादि देशों में मखाना सप्लाई की जा रही है। अब रोमानिया और यूरोप में भी इसकी सप्लाई करने की तैयारी चल रही है। मखाना की खेती को बढ़ावा देने के लिए बिहार सरकार ने मखाना विकास योजना शुरू की है। इस योजना के तहत मखाना की खेती करने वाले किसानों को 75% सब्सिडी दी जाती है। किसान अब कम खर्च पर मखाना की खेती कर अपनी आय में बढ़ोतरी कर सकेंगे।
जिलाधिकारी द्वारा कहा गया कि इस परिचर्चा का मुख्य उद्देश्य मखाना उत्पादन में संघर्ष को कम करना नए युवा वर्ग को इसके प्रति प्रोत्साहित करना और नए युवा वर्ग को कृषि उद्यमी की ओर बढ़ावा देना है। जिला प्रशासन द्वारा बड़ा अभियान चलाया जा रहा है कि किसानों की कठिनाइयां एवं संघर्षों को कैसे कम किया जाए। 90% मखाना का उत्पादन बिहार से होता है। जिलाधिकारी महोदय द्वारा मखाना किसानों से मखाना उत्पादन में आने वाली समस्याओं के बारे में पूछा गया। संबंधित किसानों द्वारा मखाना की खेती में आने वाली विभिन्न कठिनाइयों एवं समस्याओं से जिला पदाधिकारी महोदय को साझा किया गया।
जिलाधिकारी द्वारा किसानों को बताया गया कि मखाना उत्पादन करने वाले किसानों के लिए पर्याप्त संख्या में ट्रांसफार्मर लगाने एवं एग्री फीडर से जोड़ने पर कार्य किया जा रहा है। जिसके लग जाने से किसानों को खर्च पर बिजली उपलब्ध मिलेगी और सिंचाई के लागत में कमी आयेगी, जिससे किसानों को मखाना उत्पादन के लागत में कमी आएगी।जिलाधिकारी द्वारा किसानों को उत्तम किस्म के मखाना के बीज का उपयोग करने को कहा गया।अच्छा गुणवत्ता वाले मखाना के उत्पादन से किसानों की आमदनी में वृद्धि होगी।
प्रशिक्षण के दौरान राहुल कुमार सहायक निदेशक उद्यान द्वारा बताया गया कि पूर्णिया जिला में उद्यान निदेशालय के तरफ से मखाना के पारंपरिक किट वितरण योजना चलाई गई है। किट पहले आओ पहले पाओ की तर्ज पर 250 मखाना किसानों को उपलब्ध कराया जायेगा, जिसमे इस अवयव अन्तर्गत परम्परागत तरीकों से निर्मित उपकरणों यथा-औका, गाँज, कारा, खैन्ची, चलनी, चटाई, अफरा एवं थापी का क्रय करने हेतु सहायतानुदान प्रति किट इकाई लागत 22,100.00 (बाईस हजार एक सौ) रूपये का 75 प्रतिशत यानि 16575.00 प्रति किट देने का प्रावधान है।
परम्परागत तरीकों से निर्मित उपकरणों बाँस, लकड़ी एवं अन्य वस्तुओं से बनी होती है, जिसका उपयोग मखाना की खेती एवं प्रसंस्करण कार्य की विभिन्न अवस्थाओं में किया जाता है।