"दिव्यालय एक व्यक्तित्व परिचय" में हुआ साक्षात्कार!
अतिथि:
गोपाल जी
(Banana Boy Of India)
अनुसंधान कर्ता
होस्ट: किशोर जैन"
रिपोर्ट: सुनीता सिंह सरोवर
होनहार वीरवान के होत चिकने पात…
भारत आज विश्व गुरु बन खड़ा है इसका श्रेय यहाँ के शिक्षक, उद्योगपती, वैज्ञानिक एवं डॉक्टर्स को भी जाता है। भारत की वैज्ञानिक प्रगति होना भी जरूरी था जिससे हम अनेक उन्नति के शिखर पर अग्रसर हो रहे हैं। वैज्ञानिकों में ए पी जे कलाम हो, अनिल काकोड़कर हो, होमी भाभा हो, सी एन राव हो या हमारे आज के उभरते वैज्ञानिक गोपाल जी हो।
आवश्यकता आविष्कार की जननी होती है, यह कहावत पुर्ण रूपेण सत्य है। बिहार प्रांत के सबसे कम उम्र और बी. टेक 4th ईयर के स्टूडेंट एवं साइंटिस्ट गोपाल जी, एक किसान परिवार से आते हैं। पिता केले की खेती कर बच्चों का लालन - पालन करते हैं, आठ वर्ष की आयु में इन्होंने भयंकर बाढ़ की विभिषिका देखी जिसका असर इनके परिवार पर भी पड़ा। सारी फसल बरबाद हो गयी केले की खेती को बाढ़ ने पूरी तरह लील लिया, उसी समय इन्होंने देखा की कई आमों के पेड़ जो सुख गये थे। उनकी लकड़ियों के भी अच्छे दाम मिल रहें हैं, तभी से इनके दिमाग में यह बात घर कर गयी। क्यों न इस केले के वृक्ष से भी उचित अविष्कार कर इसे भी रियुजेबल बनाया जाए, और यह शुभ कार्य इन्होंने कर दिखाया। आज ये केले की फलस को हो जाने के बाद कृषकों से उन पेड़ों को खरीद लेते हैं, और इनसे ये डिस्पोजेबल प्लेटस बाउल बनाने का कार्य कर कितने ही बेरोजगारों को आय का जरिया दिया है। सबसे बड़ी बात यह आसानी से गल जाता है, जिससे धरती के लिए भी हानिकारक नहीं है। जिस तरह आज पूरा विश्व ग्लोबल वार्मिंग की चपेट में है, ग्लेशियर पिघल रहें हैं। ओपन लेयर में ब्लैक हाल है। उन सब के मध्य नज़र यह बहुत सुंदर और कारगर आविष्कार है। यहाँ हम बताते चलें इन्हें नाशा से भी मौका मिला, लेकिन इन्होंने स्वछंद रूप से कार्य करना उचित समझा, और नित नये प्रयोग कर समाज और युवा प्रतिभाओं को नयी राह दिखा रहे है। गोपाल जी आज समाज को आप जैसे ही होनहारों की आवश्यकता है।
अंत में बेहतरीन संचालन कर रहे यू.के. से किशोर जैन जी ने अपने अतिथि को धन्यवाद दिया। इस नेक व सराहनीय कार्य के लिए दिव्यालय की संस्थापक व कार्यक्रम आयोजक व्यंजना आनंद 'मिथ्या', और अध्यक्ष व कार्यक्रम संयोजक मंजिरी निधि 'गुल'जी को कार्यक्रम आयोजन के लिए धन्यवाद दिया तथा बताया कि इस कार्यक्रम का सीधा प्रसारण Vyanjana Anand Kavya Dhara यूट्युब चैनल पर लाइव हर बुधवार शाम सात बजे हम देख सकते हैं या उसकी रेकॉर्ड वीडियो को बाद में देखा जा सकता है। पूरे दिव्यालय परिवार की तरफ से उन्होंने धन्यवाद ज्ञापित करते हुए कहा कि आप के हौसलें को कोटि- कोटि नमन है।