लोक शिकायत निवारण में सारण डीएम की सख्ती: 12 मामलों की हुई सुनवाई, एक सीओ पर ₹1000 का जुर्माना!
सारण (बिहार): जिला पदाधिकारी अमन समीर ने शुक्रवार को बिहार लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम, 2015 के तहत द्वितीय अपील के मामलों की सुनवाई करते हुए कुल 12 मामलों का संज्ञान लिया। इनमें से 4 मामलों में अंतिम रूप से आदेश पारित किया गया जबकि 8 मामलों में लोक प्राधिकार को अगले तिथि पर पूर्ण प्रतिवेदन के साथ उपस्थित होने का निर्देश दिया गया।
इस दौरान एक महत्वपूर्ण मामला तरैया अंचल के अंचलाधिकारी से जुड़ा रहा। परिवादी संजीव कुमार सिंह द्वारा दायर अतिक्रमण से संबंधित शिकायत की सुनवाई के दौरान अंचलाधिकारी द्वारा अस्पष्ट प्रतिवेदन प्रस्तुत किए जाने और कार्यों में शिथिलता बरते जाने पर डीएम अमन समीर ने उन्हें ₹1000 का आर्थिक दंड लगाने का निर्देश दिया।
डीएम ने दिए स्पष्ट निर्देश
डीएम समीर ने कहा कि लोक शिकायतों का समयबद्ध और गुणवत्तापूर्ण निवारण प्रशासन की सर्वोच्च प्राथमिकता है। सभी लोक प्राधिकार सजग, संवेदनशील और सक्रिय होकर इस अधिनियम का अनुपालन सुनिश्चित करें।
उन्होंने सभी अधिकारियों को चेतावनी दी कि अगर लोक शिकायतों में लापरवाही बरती गई तो संबंधित पदाधिकारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
बिहार लोक शिकायत निवारण अधिनियम-2015
यह अधिनियम आम नागरिकों को सरकारी सेवाओं या दायित्वों में उत्पन्न किसी भी प्रकार की समस्या को लेकर सीधा आवेदन करने और समय पर न्याय पाने का अधिकार देता है। डीएम स्तर पर द्वितीय अपील की प्रक्रिया के अंतर्गत अधिकारीगण को जवाबदेह बनाया गया है।
जन सूचना
अगर आप भी किसी सरकारी विभाग की लापरवाही या समस्या से परेशान हैं, तो [बिहार लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम, 2015] के तहत अपनी शिकायत ऑनलाइन या लोक कार्यालयों में दे सकते हैं।