आंदर के रकौली गांव स्थित एच डब्ल्यू सी पर अप्रैल 2023 से अभी तक 7374 रोगियों का प्राथमिक स्तर पर किया गया स्वास्थ्य जांच और उपचार!
स्वास्थ्य सेवाओं में जनता की भागीदारी सुनिश्चित कराने में जन आरोग्य समिति की अहम भूमिका: सिविल सर्जन
ग्रामीण क्षेत्रों में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा मुहैया कराने के लिए स्वास्थ्य विभाग संकल्पित: डॉ दीपक विश्वकर्मा
सिवान, 27 मई।
शहरी से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों के अंतिम पंक्ति तक के लोगों को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराने के लिए स्वास्थ्य विभाग और बिहार सरकार कृत- संकल्पित है। जिसको लेकर इस दिशा में कई महत्वपूर्ण पहल की गयी है। हालांकि स्वास्थ्य विभाग का प्रयास है कि मरीजों को बेहतर उपचार के साथ- साथ शत- प्रतिशत निः शुल्क दवा भी उपलब्ध करायी जाए। यही कारण है कि अब पंचायत स्तर पर संचालित हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर (एच डब्ल्यू सी) यानी आयुष्मान आरोग्य मंदिर (आम) पर भी शत- प्रतिशत दवा की उपलब्धता सुनिश्चित की जा रही है।
इस संबंध में सिविल सर्जन डॉ श्रीनिवास प्रसाद ने बताया कि गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं को शत प्रतिशत उपलब्ध कराना स्वास्थ्य विभाग का मुख्य उद्देश्य है। हालांकि इसके लिए विभागीय स्तर पर समय समय पर निगरानी और मूल्यांकन के साथ साथ अनुश्रवण भी कराया जाता है। लेकिन सबसे अहम बात यह है कि स्वास्थ्य विभाग की यह पहल खासकर उन क्षेत्रों के लिए अत्यधिक लाभकारी साबित हो रही है, जहां पहले स्वास्थ्य सुविधाओं की थोड़ी बहुत कमी लग रही थी। हालांकि बिहार सरकार के इस प्रयास से ग्रामीण क्षेत्रों सहित दूर दराज में रहने वाले मरीजों को अब इलाज के साथ- साथ उचित दवाएं और परीक्षण सेवाएं भी मिल रही हैं, जिससे उनकी स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का समाधान अधिक प्रभावी ढंग से किया जा रहा है। स्वास्थ्य सेवाओं में जनता की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए सभी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर “जन आरोग्य समिति” का गठन किया जा चुका है। इसके माध्यम से इन केंद्रों पर उपचार के लिए आने वाले लोगों को सामान्य चिकित्सा से संबंधित सुविधाएं उपलब्ध करायी जानी हैं।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) आंदर के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ दीपक विश्वकर्मा ने बताया कि हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर मुख्य रूप से प्रसव पूर्व जांच, नवजात एवं शिशु सामान्य स्वास्थ्य देखभाल, बाल्यावस्था एवं किशोर सामान्य स्वास्थ्य देखभाल, परिवार नियोजन, गर्भनिरोधक एवं सामान्य प्रजनन स्वास्थ्य देखभाल, राष्ट्रीय कार्यक्रमों के अनुसार संचारी रोगों का सामान्य प्रबंधन, बीमारियों का ओपीडी के माध्यम से सामान्य प्रबंधन, गैर संचारी रोगों की स्क्रीनिंग, सामान्य प्रबंधन, क्षय एवं कुष्ठ रोग का सामान्य प्रबंधन, नेत्र एवं इएनटी से संबंधित सामान्य स्वास्थ्य सेवाएं, मौखिक स्वास्थ्य एवं दंत देखभाल से संबंधित सामान्य सेवाएं, वृद्धावस्था केयर से संबंधित सामान्य स्वास्थ्य सेवाएं, सामान्य चिकित्सीय आपातकालीन स्वास्थ्य सेवाएं और मानसिक स्वास्थ्य बीमारियों की स्क्रीनिंग एवं सामान्य प्रबंधन की व्यवस्था सरकार द्वारा उपलब्ध कराई गई है। वहीं 14 प्रकार के बीमारियों की जांच की सुविधा भी उपलब्ध है। जिसमें रक्त जांच, मधुमेह, उच्च रक्तचाप, ब्लड ग्रुप, फाइलेरिया, डेंगू, यूरिन, गर्भावस्था, सोडियम, एचआईवी, हेपटाइटिस, मलेरिया, सिप्लिस, वाटर टेस्टिंग, टीबी और कैंसर स्क्रीनिंग की जांच शामिल है। हालांकि एच डब्ल्यू सी पर सभी प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान की जाती हैं।
रकौली आयुष्मान आरोग्य मंदिर (आम) की सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी (सीएचओ) बबिता सिंह ने बताया कि अप्रैल 2023 से अभी तक 7374 रोगियों का प्राथमिक स्तर पर स्वास्थ्य जांच और उपचार किया गया है। जिसमें अप्रैल 2023 से मार्च 2024 तक 3580 जबकि अप्रैल 2024 से मार्च 2025 तक 3140 के अलावा अप्रैल 2025 में 368 तो मई माह में अभी तक 286 मरीजों का इलाज़ किया गया है। क्योंकि इस केंद्र पर प्राथमिक रूप से विभिन्न प्रकार की बीमारियों के लिए उचित सलाह, जांच और दवाओं की उपलब्धता रहती है। हालांकि आवश्यकता अनुसार उपचार और दवाएं दी जाती हैं। वहीं कुछ मरीजों को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र आंदर रेफर किया जाता है। जहां के विशेषज्ञ चिकित्सकों द्वारा उसका इलाज़, जांच और दवाएं दी जाती है। लेकिन उन मरीजों का फॉलोअप स्थानीय एचडब्ल्यूसी के द्वारा किया जाता है। फॉलोअप में विशेष कर गैर संचारी रोग जैसे- हाइपरटेंशन, डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, हृदय रोग, कैंसर, दमा एवं सांस आदि बीमारियां गैर संचारी रोगों की श्रेणी के प्रमुख घातक बीमारियां है। इन बीमारियों के फॉलोअप की दवा सभी एचडब्ल्यूसी में उपलब्ध है। इससे ग्रामीण क्षेत्र के सामान्य तौर पर आम मरीजों को बड़े अस्पताल या किसी अन्य दवा स्टोर पर जाने की जरूरत नहीं होती है।