महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर आयोजित काव्य गोष्ठी में शिव महिमा हुआ का अद्भुत गान!
रिपोर्ट-मंजु बंसल, बैंगलोर
ऑनलाइन (यूट्यूब): कवितालोक साहित्यांगन पटल द्वारा आधुनिक संचार तंत्र के आभासी पटल पर 18 फ़रवरी 2023, शनिवार को ज़ूम के माध्यम से पटल के मुख्य व्यस्थापक महेश जैन ‘ज्योति’ के संयोजन में, मुख्य अतिथि विजय बागड़ी जी, विशिष्ट अतिथि डॉ. श्याम मनोहर सीरोठिया जी एवम् डॉ. कैलाशनाथ मिश्र जी की अध्यक्षता में शिवरात्रि के पावन पर्व पर त्रिपुरारी, सृष्टिकर्ता शिव भोले बाबा की महिमा का गुणगान किया गया।
काव्य गोष्ठी के आरंभ में कर्नल प्रवीण त्रिपाठी जी ने उपस्थित विशिष्ट अतिथियों का स्वागत करते हुये कार्यक्रम की मंगल-कामना की। महेश जैन ‘ज्योति’ जी के द्वारा दीप प्रज्वलन करने के पश्चात् मनीषा बजाज ने मृदु वाणी में उत्कृष्ट सरस्वती वंदना प्रस्तुत कर वातावरण को भक्तिमय बना दिया ।बेतिया से अंतिम निर्मल ने सुमधुर राग में लाजवाब शिव गीत गाकर बम-बम भोले का आह्वान किया।
तदुपरांत देश के हर प्रांत के विख्यात कवियों व कवयित्रियों ने अपनी काव्यात्मक शैली में शिवशंकर की भक्ति में भक्तिरस की पावन धारा प्रवाहित कर दी। डॉ. कैलाशनाथ मिश्र , रश्मि मोयदे ‘ दीप्त’, डॉ. शेषपाल सिंह, व्यंजना आनंद मिथ्या, पद्माक्षि शुक्ल, कर्नल प्रवीण त्रिपाठी, डॉ. श्याम मनोहर सिरोठिया, रीता लोधा, राजकुमार छापड़िया ‘ कुँवर’, महेश जैन’ ज्योति’ ने काव्य की गंगा प्रवाहित कर श्रोताओं को भक्तिरस में गोते लगाने को मजबूर कर दिया। साथ ही रीता लोधा व सविता खण्डेलवाल का संचालन बेहद शानदार रहा। संचालन के बीच-बीच में शिव की विभिन्न कथाओं का महत्व बताना बेजोड़ रहा।
शिव के ब्रह्मानंद से ही स्वर, ध्वनि , वाणी व छंदों की उत्पत्ति हुई। शिव ही अनादि, अनंत, सृष्टिकर्ता, पालक हैं तो संहारक भी हैं। पापाचारियों की वृद्धि होने पर संहार कर सृष्टि का नव सृजन भी करते हैं । ये ही देवों के देव हैं।
डॉ. श्याम मनोहर सिरोठिया ने अपने वक्तव्य में सभी काव्य मनीषियों की प्रशंसा करते हुये भगवान शिव के चरणों में वंदन किया एवं सभी की प्रस्तुति को भाव, भाषा व छंद-विन्यास के स्तर पर उच्च कोटि का बताया। अंत में कर्नल प्रवीण त्रिपाठी ने सभी उपस्थित विशिष्ट महानुभावों, साधकों व सुधीजनों को धन्यवाद करते हुये कार्यक्रम समाप्ति की घोषणा की।